वायुमंडल और जलवायु अध्ययन

मेघ-खंडऔर मेघ-आवरण

भारतीय भूस्थिर उपग्रह इनसैट-3डी पर लगे अति उच्च विभेदन रेडियोमीटर (वीएचआरआर) मेघ-खंड भारतीय भू-स्थिर उपग्रह इनसैट-3डी पर लगे अति उच्च विभेदन रेडियोमीटर (वी.एच.आर.आर.) से जल वाष्प चैनल के साथ क्रमशः तापीय अवरक्त और दृश्य चैनलों से विकिरणता और परावर्तन माप का उपयोग करते हुए निर्मित मेघ-आवरण उत्पाद से प्राप्त किया जाता है। इसमें साफ आकाश सम्मिश्र निर्माण करने के लिए क्रमशः दृश्यमान एवं तापीय चैनलों परावर्तन तथा विकिरणता माप का उपयोग किया जाता है और फिर मेघ चित्रांश (पिक्सेल) के पहचान के लिए अवसीमा (थ्रेसहोल्ड) को लागू किया जाता है।

एक चित्रांश (पिक्सेल) को मेघमय रूप में परिभाषित किया जाता है यदि वह उपयोग किए गए सभी तीन चैनलों में उपरोक्त मानदंडों को संतुष्ट करता है। मेघ खंड उत्पादों को आधे-घंटे के अंतराल (यानी प्रति दिन 48 उत्पाद) पर उपलब्ध कराया जा रहा है। यह पद्धति वर्ष 2013 से शुरू कर वर्तमान तक इनसैट-3डी से और अंततः इनसैट-3डीआर से मेघ खंड के निर्माण हेतु अपनाई जायेगी।

10 कि.मी., 25 कि.मी. ग्रिड पर, वर्ष 2017-2018 का दैनिक मेघ खंड और मेघ आवरण आंकड़ा (डेटा), भुवन- मेघ खंड एवं मेघ आवरण पर होस्ट किया गया है।

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